HPRCA: राज्य चयन आयोग भरेगा अपने रिक्त पदों को, 30 मार्च को होगी ओटीए की रिटन परीक्षा

30 सितंबर 2023 को हिमाचल प्रदेश राज्य चयन आयोग के माध्यम से पहली भर्ती प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। पेपर लीक मामले के सामने…

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30 सितंबर 2023 को हिमाचल प्रदेश राज्य चयन आयोग के माध्यम से पहली भर्ती प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। पेपर लीक मामले के सामने आने पर कर्मचारी चयन आयोग के भंग होने के बाद 30 सितंबर 2023 को गठित हिमाचल प्रदेश राज्य चयन आयोग के माध्यम से पहली भर्ती प्रक्रिया अब शुरू हो गई है।

30 मार्च को ऑपरेशन थिएटर असिस्टेंट (ओटीए) पोस्ट कोड 1073 के 162 पदों के लिए लिखित परीक्षा आयोजित की जाएगी। आयोग के गठन के चार महीने बाद आयोग की वेबसाइट उम्मीदवारों के लिए फिर से स्टार्ट कर दी गई है। 30 मार्च को होने वाली इस परीक्षा की लिखित परीक्षा के पद पहले की तरह हिमाचल प्रदेश कर्मचारी चयन आयोग हमीरपुर द्वारा 24 सितंबर 2022 को जारी विज्ञापन संख्या 38-5/2022 के माध्यम से अन्य पोस्ट कोड के साथ विज्ञापित किए गए थे।

ऑपरेशन थिएटर असिस्टेंट के पद के लिए प्राप्त आवेदनों में से अस्वीकृत आवेदन की सूची कारण सहित आयोग की आधिकारिक वेबसाइट hprca.hp.gov.in  पर अपलोड कर दी गई है। कैंडीडेट्स विवरण के लिए वेबसाइट के डाउनलोड सेक्शन में जाकर सूची देख सकते हैं।अस्वीकृत आवेदन को लेकर अगर कोई उम्मीदवार अपना पक्ष रखना चाहता है तो वह इस विज्ञापन में अपेक्षित सभी आवश्यक दस्तावेजों के साथ 4 मार्च तक आयोग के प्रशासनिक अधिकारी कार्यालय के ईमेल पते [email protected] पर भेज सकते हैं। ऐसा न करने पर आवेदक की उम्मीदवारी खारिज कर दी जाएगी और 4 मार्च के बाद किसी भी पक्ष पर विचार नहीं किया जाएगा।

30 मार्च को ओटीए की लिखित परीक्षा आयोजित की जाएगी। आवेदनों की अस्वीकृत सूची वेबसाइट पर अपलोड कर दी गई है। 4 मार्च तक अभ्यर्थी ईमेल के माध्यम से अपना पक्ष रख सकते हैं। – जितेंद्र सांजटा, प्रशासनिक अधिकारी, आयोग

राज्य चयन आयोग की ओर से ली जाने वाली इस पहली परीक्षा के लिए तीन सेंटर बनाए जा रहे हैं। एक परीक्षा केंद्र कांगड़ा में होगा, तो हमीरपुर व तीसरा परीक्षा केंद्र शिमला में बनाया जाएगा। इन तीनों परीक्षा केंद्रों में कंप्यूटर पर आधारित प्रतियोगी परीक्षा ली जाएगी।

राज्य चयन आयोग के पास अभी पुराने आयोग के ही 15 कर्मचारी हैं, जिनसे काम चलाया जाएगा। इसके बाद जैसे-जैसे भर्तियों का काम बढ़ेगा, सरकार से और कर्मचारी भी लिए जाएंगे। इससे पहले वाले आयोग में करीब 100 कर्मचारी थे, जिनको वापस उनके मूल विभागों में भेज दिया था।