अल्मोड़ा के चीनाखान में ऐसी ही रंगभरी महफिल ने रंगोत्सव में चार चांद लगा दिये। तल्ला चीनाखान में ललित पाण्डे और श्रीमती बीना पाण्डे के घर पर होली (Holi)की महफिल सजी तो महिलाओं ने आकर्षक होली गीतों के साथ नृत्य का प्रस्तुतिकरण किया. देर रात तक यहां महफिल जमी रही और महिला होल्यारों ने खूब धमाल मचाया.
अल्मोड़ा की होली (Holi) पूरे उत्तराखण्ड में प्रसिद्ध है. वैसे तो बैठकी होली (Holi) की शुरूवात पूस के रविवार से ही हो जाती है इसके बाद बसंत पंचम के आगमन के साथ ही होली बैठकी (Holi) का सिलसिला तेज हो जाता है. शिवरात्रि के बाद तो जैसे चीर बांधने के दिन का इंतजार रहता है. और आंवला एकादशी को आवंले की वृक्ष की पूजा करने के साथ ही चीर बांधी जाती है. और फिर शुरू होता है महिलाओं की बैठकी होली (Holi) का सिलसिला. लगभग हर घर में महिलाओं की होली बैठके आयोजित होती है. आलू के गरमा गरम गुटके, गुजिया और हंसी ठिठोली के बीच यह होली बैठके (Holi) आयोजित होती है.
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