अल्मोड़ा। पूर्व सीएम हरीश रावत ने प्रदेश सरकार द्वारा बनाए गए पंचायती एक्ट को लकुनाज जैसे कानून की संज्ञा दी है। उन्होंने कहा कि सरकार की मंशा साफ है कि वह समय पर चुनाव नहीं कराना चाहती इसलिए ऐसे कानून बना रही है जो व्यवहारिक नहीं कहे जा सकते हैं। उन्होंने कहा कि सरकार ने एक राज्य में नगर निकाय और पंचायतों के लिए अलग अलग कानून बनाए हैं। नगर निकायों में जहां प्रत्याशियों को एक साल का ग्रेस पीरियड दिया गया वहीं ग्रामीण क्षेत्र की पंचायतों के लिए तत्काल लागू करने की बात कही जा रही है। हरीश रावत ने राज्य सरकार के पंचायत एक्ट पर सवाल उठाये और कहा कि राज्य की सरकार पंचायतों में और निकायों के साथ भेदभाव कर रही है। इसलिए कहा जा सकता है कि सरकार ग्राम सरकार की परिचायक पंचायतों के चुनावों को समय पर नहीं कराना चाहती है।
पंचायत चुनावों के लेकर पूर्व सीएम हरीश रावत का बड़ा बयान, कहा समय पर चुनाव कराने से बचने के लिए सरकार ने बनाया ऐसा पंचायती एक्ट, पढ़ें पूरी खबर
अल्मोड़ा। पूर्व सीएम हरीश रावत ने प्रदेश सरकार द्वारा बनाए गए पंचायती एक्ट को लकुनाज जैसे कानून की संज्ञा दी है। उन्होंने कहा कि सरकार…