भारतीय समाज में शादी को बेहद पवित्र बंधन माना जाता है लेकिन क्या आप जानते हैं कि इसी समाज में 30 लाख से भी ज्यादा लोग ऐसे हैं जो शादी के बाद भी नए रिश्तों की तलाश कर रहे हैं। यह एक अनोखी ऐप के जरिए हो रहा है। इस ऐप का नाम है ग्लीडेन जो खास तौर पर विवाहेतर डेटिंग (Extramarital dating) के लिए बनाया गया है।
ग्लीडेन (Gleeden) की शुरुआत भले ही भारत में नहीं हुई हो, लेकिन यह देश में तेजी से लोकप्रिय हो रहा है। फ्रांस में 2009 में लांच हुई इस ऐप का मकसद उन लोगों को गुप्त सुरक्षित प्लेटफार्म देना है जो अपनी शादी के बाहर किसी और के साथ जुड़ना चाहते हैं। इस ऐप ने 2024 तक भारत में 30 लाख एक्टिव यूजर्स का आंकड़ा पार कर लिया है। भारतीय यूजर्स में 58% महिलाएं भी शामिल है जो यह दर्शाता है कि महिलाएं भी अब खुलकर जीना चाहती हैं।
बेंगलुरु सबसे आगे, मेट्रो शहरों में हाई डिमांड
ग्लीडेन (Gleeden) के डेटा के मुताबिक बेंगलुरु 20% यूजर्स के साथ सबसे आगे है। इसके बाद मुंबई (19%), कोलकाता (18%) और दिल्ली (15%) का स्थान है। छोटे शहरों जैसे भोपाल, कोच्चि और वडोदरा में भी तेजी से यूजर्स की संख्या बढ़ रही है।
Gleeden में महिलाओं के लिए खास फीचर्स
ग्लीडेन महिलाओं को फ्री मेंबरशिप दे रहा है जिससे वह बिना किसी दबाव के इस प्लेटफार्म को यूज कर सके। यही वजह है कि 40% महिलाएं रोज इस ऐप पर लगभग 45 मिनट बिताती हैं।
ग्लीडेन (Gleeden) का भारत में बढ़ता प्रभाव
ग्लीडेन (Gleeden) के भारत में कंट्री मैनेजर सिबिल शिडेल का कहना है, “भारत हमारे लिए हमेशा से एक महत्वपूर्ण बाजार रहा है। 30 लाख यूजर्स तक पहुँचना इस बात का संकेत है कि रिश्तों को लेकर भारतीय समाज की धारणा बदल रही है। खासकर महिलाएं अब अपने रिश्तों के मामले में अधिक सुरक्षा और स्वतंत्रता चाहती हैं।”
कैसे करता है काम Gleeden?
यह एक सीक्रेट और सुरक्षित प्लेटफार्म है जो यूजर्स को उनकी पहचान छुपाने में भी मदद करता है। यह ऐप उन लोगों को जोड़ता है जो शादीशुदा है लेकिन एक नए साथी की तलाश कर रहे हैं। यह विवाहित लोगों को बिना किसी सामाजिक दबाव के नए रिश्ते तलाशने का मौका देता है।
भविष्य में क्या है Gleeden की योजना?
ग्लीडेन अपनी लोकप्रियता को बढ़ाने के लिए नई सुविधाओं और नए शहरों में विस्तार की योजना बना रहा है। इसकी कोशिश है कि 2025 तक भारतीय यूजर्स की संख्या 50 लाख तक पहुंच जाए।
बड़ा सवाल: क्या बदल रहा है समाज?
ग्लीडेन की बढ़ती लोकप्रियता यह दर्शाती है कि भारतीय समाज में रिश्तों को लेकर सोच धीरे-धीरे बदल रही है। शादी जैसे बंधन में भी अब लोग अपनी भावनाओं और इच्छाओं को व्यक्त करने के लिए अधिक स्वतंत्रता चाहते हैं। हालांकि ग्लीडेन पर बढ़ती दिलचस्पी एक बड़ा सवाल खड़ा करती है और वो ये कि क्या यह प्लेटफॉर्म रिश्तों के बदलते नजरिए का प्रतीक है या फिर सामाजिक और नैतिक मूल्यों के लिए एक चुनौती? आपका नजरिया चाहे जो भी हो, एक बात साफ है कि ग्लीडेन ने भारत में रिश्तों के बारे में नई चर्चाओं को जन्म दे दिया है।