“दिल्ली को मिला नया सीएम! मोदी-शाह ने इस अनुभवी नेता के नाम पर लगाई मुहर”

दिल्ली विधानसभा चुनाव 2025 के नतीजों के बाद, भारतीय जनता पार्टी ने 27 साल बाद सत्ता में वापसी की है। इस चुनाव में बीजेपी को…

"Delhi gets a new CM! Modi-Shah approves the name of this experienced leader"

दिल्ली विधानसभा चुनाव 2025 के नतीजों के बाद, भारतीय जनता पार्टी ने 27 साल बाद सत्ता में वापसी की है। इस चुनाव में बीजेपी को 70 में से 48 सीटों पर जीत मिली, जबकि आम आदमी पार्टी को 22 सीटों से संतोष करना पड़ा। कांग्रेस इस बार भी खाता नहीं खोल पाई। हालांकि, चुनाव परिणाम आने के बावजूद मुख्यमंत्री पद को लेकर असमंजस की स्थिति बनी हुई है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के फ्रांस और अमेरिका दौरे के कारण मुख्यमंत्री पद के नाम की घोषणा में देरी हुई, लेकिन उम्मीद जताई जा रही है कि 16 फरवरी तक इसका ऐलान कर दिया जाएगा।

मुख्यमंत्री पद के लिए कई नामों पर चर्चा हो रही है। प्रवेश वर्मा, जिन्होंने आम आदमी पार्टी के प्रमुख अरविंद केजरीवाल को नई दिल्ली सीट से हराया है, एक प्रमुख दावेदार माने जा रहे थे, लेकिन बीजेपी आलाकमान की ओर से संकेत मिले हैं कि पार्टी उन्हें मुख्यमंत्री नहीं बनाएगी। इसके बजाय, रोहिणी से विधायक विजेंद्र गुप्ता का नाम सबसे आगे चल रहा है। विजेंद्र गुप्ता तीन बार विधायक रह चुके हैं और दिल्ली की राजनीति में उनका अच्छा खासा अनुभव है। वे पूर्व में दिल्ली विधानसभा में नेता विपक्ष रह चुके हैं और दिल्ली भाजपा के अध्यक्ष भी रहे हैं। उन्हें भाजपा का एक बड़ा वैश्य चेहरा माना जाता है, इसलिए मोदी-शाह उनके नाम पर सहमति बना सकते हैं।

इसके अलावा, भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव दुष्यंत गौतम का नाम भी संभावित उम्मीदवारों में शामिल है। वे दलित समुदाय से आते हैं, जिससे भाजपा को सामाजिक संतुलन बनाने में मदद मिल सकती है। साथ ही, दिवंगत सुषमा स्वराज की बेटी बांसुरी स्वराज का नाम भी मुख्यमंत्री पद की दौड़ में उभरकर सामने आया है। वे हाल ही में नई दिल्ली लोकसभा क्षेत्र से सांसद चुनी गई हैं और पार्टी में उनकी मजबूत पकड़ मानी जाती है।

भाजपा सूत्रों के मुताबिक, 19 या 20 फरवरी को नए मुख्यमंत्री का शपथ ग्रहण हो सकता है। पार्टी नेतृत्व 48 विधायकों में से 9 नामों पर विचार कर रहा है, जिनमें से मुख्यमंत्री और मंत्री पद के लिए चयन किया जाएगा। इस चुनाव में बीजेपी की शानदार जीत के बाद अब दिल्ली के नए मुख्यमंत्री की घोषणा का इंतजार किया जा रहा है, जिससे यह स्पष्ट हो सके कि राजधानी की बागडोर किसके हाथों में होगी।