Almora Breaking— सामान्य प्रसव के बाद प्रसूता की तबीयत बिगड़ी, मौत

अल्मोड़ा, 23 फरवरी 2021Almora जिले में गर्भवती व प्रसूताओं की मौत के मामले थमने का नाम नहीं ले रहे है। लचर स्वास्थ्य सुविधाओं के चलते…

रामनगर

अल्मोड़ा, 23 फरवरी 2021
Almora
जिले में गर्भवती व प्रसूताओं की मौत के मामले थमने का नाम नहीं ले रहे है। लचर स्वास्थ्य सुविधाओं के चलते एक और महिला को अपनी जिंदगी से हाथ धोना पड़ा। महिला का सामान्य प्रसव कराया गया, उसने एक बेटी को जन्म दिया। लेकिन कुछ देर में उसकी तबीयत बिगड़ने के बाद उपचार के दौरान उसकी मौत हो गई।

प्राप्त जानकारी के मुताबिक ताकुला विकासखंड के ग्राम खिराकोट, सोमेश्वर निवासी दुर्गा भाकुनी (25) पत्नी कैलाश सिंह को प्रसव पीड़ा होने के बाद परिजन गर्भवती को लेकर प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र, सोमेश्वर पहुंचे, लेकिन डॉक्टरों ने उसे हायर सेंटर अल्मोड़ा के लिए रेफर कर दिया।

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परिजन गर्भवती को लेकर यहां Almora महिला अस्पताल पहुंचे। जहां महिला को भर्ती किया गया। बीती रात करीब 10 बजे महिला का सामान्य प्रसव कराया और महिला ने बेटी को जन्म दिया। लेकिन प्रसव के कुछ देर बाद महिला की हालत बिगड़ने लगी। चिकित्सकों ने महिला को बचाने का प्रयास किया लेकिन करीब आधे घंटे बाद प्रसूता ने दम तोड़ दिया।

महिला अस्पताल की प्रभारी सीएमएस डॉ. प्रीति पंत ने बताया कि महिला का प्रसूता का पल्स व बीपी लो हो गया था। करीब 1 घंटे तक महिला को बचाने का भरपूर प्रयास किया गया लेकिन उसे नहीं बचाया जा सका।

चंद मिनटो में खुशियां बदली मातम में

महिला का पति कैलाश सिंह दिल्ली में प्राइवेट जॉब करता है। वह किसी कारणवश घर नहीं आ पाया था। परिजनों द्वारा दुर्गा का सामान्य प्रसव होने व उसके द्वारा बेटी को जन्म देने की जानकारी परिजनों द्वारा कैलाश को दी गई। बेटी का पिता बनने पर कैलाश सिंह काफी खुश था। लेकिन नियती को कुछ और ही मंजूर था। चंद मिनट में खुशियां मातम में बदल गई। प्रसूता की मौत की सूचना मिलते ही परिजनों में कोहराम मच गया।

वेंटिलेटर से बच सकती थी जान

महिला अस्पताल में लंबे समय बाद भी वेंटिलेटर संचालित नहीं हो सके है। वेंटिलेटर चालू अवस्था में होते तो शायद प्रसूता को बचाया जा सकता था। प्रभारी सीएमएस डॉ. प्रीति पंत ने कहा कि प्रसूता को बचाने का काफी प्रयास किया गया।

सुविधाएं और बेहतर होती तो महिला को बचाने की और अधिक कोशिश की जा सकती थी। बताते चले कि कोरोना काल में महिला अस्पताल को शासन से 2 वेंटिलेटर मुहैया कराए गए है। लेकिन इसे मरीजों का दुर्भाग्य कहे या स्वास्थ्य विभाग की लापरवाही की अब तक यह वेंटिलेटर संचालित नहीं हो सके। जिसके चलते गंभीर मरीजों को बेहतर उपचार नहीं मिल पा रहा है।

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आखिर सरकार व जनप्रतिनिधि कब लेंगे संज्ञान

अल्मोड़ा में गर्भवती महिलाएं व प्रसूताएं स्वास्थ्य सुविधाओं के अभाव में दम तोड़ रही है। हाल ही में यहां खगमराकोट निवासी एक प्रसूता को Almora से हल्द्वानी रेफर किया गया, लेकिन महिला ने हायर सेंटर पहुंचने से पहले ही दम तोड़ दिया था वही, अतिरिक्त प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र, सोमेश्वर में लचर स्वास्थ्य सुविधाओं के कारण करीब 2 साल पहले एक महिला की प्रसव के दौरान मौत हो गई थी।

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सरकार स्वास्थ्य सुविधाएं सुधारने के तमाम दावे करते नहीं थकती, लेकिन धरातल में स्थिति कुछ और है। गर्भवती महिलाएं लगातार अकाल मौत का शिकार बन रही है लेकिन स्थानीय जनप्रतिनिधि भी इसका संज्ञान लेना जरूरी नहीं समझते। आखिर गर्भवती व प्रसूताओं की मौत का यह सिलसिला कब थमेगा, यह बड़ा सवाल है।

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