अल्मोड़ा बस हादसा: घायलों से मिलने पहुंचे कैबिनेट मंत्री और सांसद को झेलना पड़ा लोगों का गुस्सा, स्वास्थ्य सेवाओं की पोल खुली

अल्मोड़ा के मार्चुला में हुए दर्दनाक बस हादसे में मृतकों की संख्या बढ़कर 36 हो गई है। हादसे में गंभीर रूप से घायल तीन यात्रियों…

Cabinet minister and MP who came to meet the injured had to face the anger of the people, health services exposed

अल्मोड़ा के मार्चुला में हुए दर्दनाक बस हादसे में मृतकों की संख्या बढ़कर 36 हो गई है। हादसे में गंभीर रूप से घायल तीन यात्रियों को एयरलिफ्ट कर एम्स ऋषिकेश भेजा गया है, जबकि तीन अन्य घायलों का इलाज सुशीला तिवारी अस्पताल में चल रहा है। अन्य घायलों का उपचार रामनगर उपजिला अस्पताल में जारी है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने इस बस हादसे की मजिस्ट्रेट जांच के आदेश दे दिए हैं।

रामनगर अस्पताल में घायलों का हालचाल जानने पहुंचे नैनीताल-उधमसिंह नगर के सांसद अजय भट्ट और कैबिनेट मंत्री सौरभ बहुगुणा को जनता के गुस्से का सामना करना पड़ा। अस्पताल में स्वास्थ्य सेवाओं की कमी को लेकर स्थानीय लोगों ने जमकर विरोध जताया और सरकार के स्वास्थ्य सेवाएं बेहतर होने के दावों की पोल खोल दी।

स्वास्थ्य सेवाओं पर उठे सवाल

स्थानीय निवासी ललित उप्रेती ने बताया कि अस्पताल में घायलों को उचित उपचार नहीं मिल पा रहा है और बेड की भी कमी है, जिससे मरीजों को कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है। लोगों ने सांसद और मंत्री के समक्ष ही नाराजगी जाहिर करते हुए मांग की कि रामनगर सरकारी अस्पताल को शीघ्र पीपीपी मोड से हटाया जाए और बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं दी जाएं।

विधायक महंत दलीप सिंह रावत की प्रतिक्रिया

लैंसडाउन विधायक महंत दलीप सिंह रावत ने भी रामनगर अस्पताल की दयनीय स्थिति पर चिंता व्यक्त की। उन्होंने जनता के हित में इस अस्पताल को पीपीपी मोड से हटाने के लिए मुख्यमंत्री से वार्ता करने की बात कही है।