टोक्यो ओलंपिक में 57 कुश्ती के फाइनल में विजय दहिया स्वर्ण पदक से चूक गये है। उन्हें रजत पदक से ही संतोष करना पड़ा। फाइनल में रूस के जवूर उगुरव ने स्वर्ण पदक हासिल किया। दहिया का यह पहला ओलंपिक था और पहले ही ओलंपिक में उन्होनें भारत को रजत पदक दिलाने का गौरव प्राप्त किया।
यह लगातार चौथा मौका है कि ओलंपिक में भारत ने कुश्ती में पदक जीता है। 2008 के बीजिंग ओलंपिक के बाद से ही भारत कुश्ती में पदक हासिल करता रहा है।
कुश्ती के 57 किलोग्राम भार वर्ग की फ्रीस्टाइल कैटिगरी में रवि दहिया ने फाइनल मुकाबले में रूस के जवूर उगुएव के सामने नही टिक सके। शुरूवात से ही वूर उगुएव ने बढ़त बना ली और रवि दहिया कड़ी टक्कर के बाद भी इससे पार नही पा सके। हालांकि रवि पहले पीरियड की शुरुआत में 2-2 से बराबरी पर आ गये थे लेकिन जवूर उगुएव ने जबरदस्त वापसी करते हुए 4-2 कर से बढ़त बना ली और इसके बाद रवि को संभलने को कोई मौका दिये बिना रूसी पहलवान ने अपनी बढ़त और मजबूत कर ली और रवि को रजत पदक से ही संतोष करना पड़ा।